Follow us:-
Celebration of Shri Ram Pran Partistha
  • By JCDV
  • January 24, 2024
  • No Comments

Celebration of Shri Ram Pran Partistha

दीया जलाने से सकारात्मक ऊर्जा का होता है संचार : डॉ. ढींडसा
जेसीडी में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा की खुशी में मनाई दीपावली।

सिरसा 23 जनवरी 2024: राम लला की प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर जेसीडी विद्यापीठ में दीपावली की तरह 501 दीए जलाए गए तथा बिजली की झालरों से भी लाइटिंग की। जिससे पूरा विद्यापीठ जगमगा उठा । इस अवसर पर जेसीडी विद्यापीठ के महानिदेशक एवं अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त वैज्ञानिक डॉक्टर कुलदीप सिंह ढींडसा मुख्य अतिथि थे । इस अवसर पर उनके साथ जनसंपर्क निदेशक प्राचार्य डॉ जयप्रकाश भी उपस्थित थे। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता गर्ल्स हॉस्टल वार्डन नीतू झिंझा द्वारा की गई। सर्वप्रथम हॉस्टल वार्डन नीतू झिंझा द्वारा मुख्य अतिथि एवं अन्य अतिथिगण का स्वागत किया और उन्होंने कहा कि बड़ी खुशी है कि श्रीराम के स्वागत के लिए आज हॉस्टल छात्राओं द्वारा दिए जलाकर तैयार जय श्री राम से हॉस्टल परिसर जगमगा उठा है। सर्वप्रथम मुख्य अतिथि ने भगवान राम के समक्ष घी का दीपक जलाकर राम जन्म स्तुति से भगवान श्री राम की पूजा अर्चना की। इस अवसर पर हॉस्टल वार्डन और भारी संख्या में हॉस्टल में रहने वाली छात्राएं और कर्मचारी उपस्थित रहे । इस अवसर पर मुख्य अतिथि द्वारा सभी छात्राओं और कर्मचारियों को मिठाइयां भी वितरित की।

डॉ. ढींडसा ने विद्यार्थियो को संबोधित करते हुए कहा कि भगवान राम एक महान राजा थे । उन्होंने दया, सत्य, सदाचार, मर्यादा, करुणा और धर्म का पालन किया। भगवान राम ने समाज के लोगों के सामने सेवा का उत्कृष्ट उदाहरण पेश किया था। इसी कारण से उनको मर्यादा पुरुषोत्तम कहा जाता है। भगवान राम ने जीवन में कभी मर्यादा का उल्लघंन नहीं किया। वे करुणा, क्षमा, सत्य, न्याय, सदाचार, साहस, धैर्य, और नेतृत्व जैसे गुणों के धनी थे। वे एक आदर्श पुत्र, पति, राजा, और मित्र थे। भगवान राम के अंदर दयालुता का भाव कूट-कूट कर भरा था। उन्होंने कहा कि भगवान राम का पूरा जीवन ही एक सीख है। मर्यादा की राह पर चलते हुए भगवान राम ने समाज को सत्य, दया, करुणा, धर्म और कर्तव्य परायणता का पाठ पढ़ाया है। भगवान राम एक आदर्श भाई थे।लक्ष्मण,भरत और शत्रुघ्न के प्रति उनके प्रेम,त्याग और समर्पण के कारण ही उन्हें आदर्श भाई कहा जाता है।

डॉ. ढींडसा ने कहा कि हिंदू धर्म में दीया जलाना काफी फलदायी होता है। इससे न केवल घर में सकारात्मक हऊर्जा का संचार होता है बल्कि परिवार में सुख-शांति भी रहती है। दीपक अंधकार को मिटाकर उजाला तो लाता ही है, यह नकारात्मकता को भी दूर करता है। दीये अंधेरे पर प्रकाश की विजय, बुराई पर अच्छाई की विजय का प्रतिनिधित्व करते हैं।

डॉ. ढींडसा ने कहा कि देवी -देवताओं की पूजा से लेकर हवन, पाठ या किसी भी मांगलिक कार्यक्रम में दीपक जलाना शुभ माना जाता है। दीपक जलाने से न केवल जीवन का अंधकार दूर होता है, बल्कि घर में मौजूद निगेटिव एनर्जी भी दूर होती है। शास्त्रों के अनुसार, दीपक जलाने से जीवन की परेशानियां खत्म हो जाती हैं।

× How can I help you?