One Day National Webinar Organized by JCD IBM College
जेसीडी आईबीएम कॉलेज में एक दिवसीय राष्ट्रीय वेबीनार का आयोजन
कोरोना काल के दौरान भारत की अर्थव्यवस्था पर सुनें विशेषज्ञ वक्ताओं के विचार किया आत्ममंथन
सिरसा 17 जून, 2020: जेसीडी विद्यापीठ में स्थापित आईबीएम कॉलेज द्वारा शुक्रवार को ‘पोस्ट महामारी युग में भारतीय अर्थव्यवस्था की संभावनाएंÓ विषय पर राष्ट्रीय वेबीनार का आयोजन किया गया, जिसमें मुख्य वक्ता के तौर पर जीजेयू के रजिस्ट्रार प्रोफेसर हरभजन बांसल, उत्तराखण्ड की कुमाऊ विश्वविद्यालय के कॉमर्स एवं प्रबंधन विभाग के डीन डॉ. बी.पी. सिंघल व कुरूक्षेत्र यूनिवर्सिटी के इंस्टीच्यूट ऑफ मैनेजमेंट स्टडीज के निदेशक डॉ. बी.एस. भोडिया ने अपने विचार रखे। वहीं इस वेबीनार की अध्यक्षता जेसीडी विद्यापीठ की प्रबंध निदेशक डॉ. शमीम शर्मा द्वारा की गई। इस वेबीनार के संयोजक कॉलेज के प्राचार्य डॉ. कुलदीप सिंह रहे। इस वेबीनार के आयोजन सचिव श्वेता शर्मा थी।
सर्वप्रथम डॉ. शमीम शर्मा ने इस वेबीनार के सभी वक्ताओं व प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए उनका आभार प्रकट करते हुए कहा कि हमारा उद्देश्य हमारे विद्यार्थियों को इस संकट की घड़ी में भी बेहतर से बेहतर ज्ञान प्रदान करवाना है इसीलिए वेबीनार का आयोजन करवाया जा रहा है। डॉ. शर्मा ने कहा कि कोरोना महामारी से लडऩे के लिए हमें एकजुटता से संस्कृति में निहित संस्कारों को अपनाना होगा तभी हम इससे जीत पाएंगे। उन्होंने कहा कि प्रबंधन एक ऐसा विषय है जो हमारे घर की रसोई से लेकर प्रत्येक क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है तथा बेहतर प्रबंधन वाले को उसका बेहतर ही रिजल्ट प्राप्त होता है। उन्होंने कहा कि सकारात्मक सोच को साथ लेकर चलते हुए हमें अपने प्रति, समाज के प्रति व देश के प्रति अपने कर्तव्यों का निर्वहन करना अति आवश्यक है। उन्होंने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा जारी की गई विभिन्न गाइडलाइंस की अनुपालना करके कोरोना वायरस से बचाव संभव है।
अपने संबोधन में प्रो. हरभजन बांसल ने कहा कि कोविड-19 के चलते विश्वभर में घर से कार्य करने की संस्कृति का प्रचलन बड़ा है जोकि बेहतर प्रबंधन का एक हिस्सा है ताकि विद्यार्थियों को इस महामारी के दौरान शिक्षा की प्राप्ति घर बैठे ही हो सके। वहीं उन्होंने अपने वक्तव्य में सभी को कोविड के दौरान भारतीय अर्थव्यवस्था पर पड़े प्रभावों बारे भी विस्तारपूर्वक बताया। प्रो. बांसल ने कहा कि शिक्षाविदों को भी विद्यार्थियों को समय-समय पर मार्गदर्शन एवं परामर्श देना चाहिए ताकि विद्यार्थियों की ऊर्जा को सही तरीके से दिशा प्रदान की जा सके तथा उनकी शिक्षा पर पडऩे वाले दुष्प्रभावों को समाप्त किया जा सके।
डॉ. बी.पी. सिंघल ने सर्वप्रथम इस आयोजन के लिए उन्हें आमंत्रित करने के लिए जेसीडी आईबीएम कॉलेज के साथ-साथ विद्यापीठ की प्रबंधन समिति का आभार प्रकट करते हुए कहा कि सोशल डिस्टेंसिंग ही इस महामारी से बचाव का एक उचित रास्ता है। उन्होंने कहा कि सरकार केवल हमें सचेत कर सकती है तथा इससे बचाव हेतु हमें स्वयं के विवेक व बुद्धि का भी प्रयोग करना होगा। डॉ. सिंघल ने कहा कि इस मौके पर हमें सम्पूर्ण चीजों के प्रबंधन को बेहतर तरीके से लागू करके इस महामारी से बचना होगा। उन्होंने कहा कि सुरक्षा एवं सावधानी हमारा मुख्य ध्येय है इसीलिए लोगों को जागरूक होकर इस महामारी के प्रति लडऩा होगा।
इस अवसर पर डॉ. बी.एस. भोडिया ने अपने संबोधन में प्रतिभागियों को कहा कि भारत सहित वैश्विक अर्थव्यवस्था पर कोविड संकट के निहितार्थ भारतीयकरण के साथ अर्थव्यवस्था को वैश्विक नेता के रूप में उभारने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि हमारी अर्थव्यवस्था व स्वास्थ्य सम्बन्धी मुद्दों को हमें स्वयं ही सुधारना तथा अख्तियार करना है इसीलिए हम सब एकजुट होकर देशहित में कार्य करें। उन्होंने कहा कि इस महामारी ने सबसे अधिक प्रभाव औद्योगिकरण एवं व्यापार पर डाला है जिसके चलते अनेक लोग बेरोजगार हो गए हैं। डॉ. भोडिया ने कहा कि हमें इस स्थिति से उभरने के लिए अथक प्रयास करते हुए भारतीय अर्थव्यवस्था को भी सुधारने का प्रयास करना होगा।
वेबीनार के संयोजक डॉ कुलदीप सिंह ने मुख्य अतिथि एवं अन्य वक्ताओं का इस वेबीनार से जुड़कर महत्वपूर्ण जानकारी सांझा करने के लिए आभार प्रकट करते हुए कहा कि आज का युग तकनीकी युग है इसीलिए हमेंं अपने बच्चों को भी व स्वयं को भी इसके साथ चलाना होगा अन्यथा हम पिछड़ जाएंगे। उन्होंने कहा कि एक बेहतर प्रबंधन ही किसी भी संस्थान या अन्य को कामयाबी के उच्च शिखर तक लेकर जा सकता है। डॉ. सिंह ने कहा कि अगर हम इस महामारी से बच गए तो हमारे सामने अर्थव्यवस्था को सुधारने की जिम्मेवारी होगी, जिसे हमें बखूबी निभानी है।
अंत में कार्यक्रम की आयोजन सचिव श्रीमती श्वेता शर्मा ने सभी वक्ताओं एवं जेसीडी की प्रबंध निदेशक सहित समस्त प्रतिभागियों का इस कार्यक्रम से जुडऩे के लिए धन्यवाद करते हुए कहा कि हमारा इस कार्यक्रम के आयोजन का उद्देश्य विद्यार्थियों को नवीनतम जानकारी से अवगत करवाना था। उन्होंने कहा कि हम निकट भविष्य में भी ऐसे आयोजन करवाकर विद्यार्थियों को बेहतर ज्ञान प्रदान करने का प्रयास करेंगे।